सीतामढ़ीएक घंटा पहले
सीतामढ़ी में 60 सालों से रह रहे लोगों का उजड़ा आशियाना
सीतामढ़ी में 60सालों से रह रहे लोगों का आशियाना तोड़ दिया गया। अब इस जगह पर थाना के भवन का निर्माण कराया जाएगा। दरअसल, शहर के बीचों बीच मेहसौल ओपी का निर्माण कराया जाना है। जहां मंगलवार को को -ऑपरेटीव के जमीन को खाली करा दिया गया है। बताया गया कि इस को- ऑपरेटिव अपना जमीन मेहसौल ओपी के लिए बेच दिया है। अब यहां थाना बनाने की कवायद शुरू कर दी गई है। खाली कराने के बाद विभाग के द्वारा जगह के सरकारी तार से घेराबंदी कर दिया गया है।
डीएम के निर्देश पर अधिकारियों ने किया था निरीक्षण
बतादे कि इस जगह पर मेहसौल ओपी थाना के निर्माण के लिए चिन्हित किया गया है। जिसके बाद को-ऑपरेटिव की भूमि पर रह रहे किराएदारों और प्रशासन के बीच ठन गई थी। दोनों में से कोई भी पीछे हटने को तैयार नहीं थे। प्रशासन के द्वारा बताया गया कि वर्ष 2012 से ही किरायेदारों से पैसा लेना बंद कर दिया गया था। मिली जानकारी के अनुसार को-ऑपरेटिव सोसायटी की जमीन को मेहसौल थाने के नये भवन के लिए बिहार सरकार ने खरीद लिया है। डीएम के निर्देश पर 7 जनवरी को छह अधिकारियों की टीम ने स्थल का निरीक्षण किया था। आश्वस्त होने के बाद जिला प्रशासन और को-ऑपरेटिव के बीच जमीन की रजिस्ट्री भी हो गई है।
इस बीच जमीन पर रह रहे लोगों ने आंदोलन छेड़ दिया था। विभाग के द्वारा जमीन पर कब्जा जमाए लोगों को नोटिस दिया गया था। सभी से जमीन खाली करने को कहा गया था। वही लोगों का कहना है कि वह बीते 60 वर्षों से जमीन पर रह रहे हैं। इस पर रह रहे मो. तनवीर, खातिर कुरैशी, मो. कौशर, पुप्पू कुमार, राजीव सिंह, कमल सिंह, राजेन्द्र प्रसाद समेत कुल 11 लोगों ने प्रशासन से समय देने की मांग की थी। हालांकि उन्हें कोई मोहलत नही दिया गया। जबकि यह मामला हाई कोर्ट में भी लंबित है। लोगो का आरोप है कि पुनर्वास के बिना ही उन सभी को विस्थापित किया गया है। इसी बीच आज मंगलवार को भारी संख्या पुलिस बल के उपस्थिति में जगह को खाली कराकर घेराबंदी कर दिया गया।